खुफिया रिपोर्ट: नेपाल के रास्ते चल रहा ड्रग्स का धंधा, ड्रग्स का गेटवे ऑफ नॉर्ड इंडिया बना मुजफ्फरपुर
सूबे में ड्रग्स की डिमांड अधिक हो गयी है। ड्रग्स (स्मैक, चरस, गांजा, व्हाइट पाउडर) नेपाल के रास्ते मुजफ्फरपुर पहुंचता है और यहीं से उत्तर बिहार के आधा दर्जन जिलों में सप्लाई होती है। हर दिन 50 लाख से अधिक का धंधा हो रहा है।
मुजफ्फरपुर बना गेटवे ऑफ बिहार
खुफिया एजेंसियों की मानें तो नेपाल से सटे जिले मोतिहारी के रक्सौल, सीतामढ़ी के सोनबरसा, भिट्ठामोड़ और मधुबनी का जयनगर ड्रग्स का बड़ा कलेक्शन प्वाइंट हैं, जहां नेपाल से खेप आने के बाद सुरक्षित रखी जाती है। फिर वहां से दूसरा कैरियर बस से लेकर मुजफ्फरपुर पहुंचता है। तस्करों के लिए मुजफ्फरपुर ‘गेटवे ऑफ नॉर्थ इंडिया’ बना हुआ है। यहां दो दर्जन से अधिक कैरियर सक्रिय हैं, जो दूसरे जिलों के लिए खेप लेकर जाते हैं। बसों में जांच-पड़ताल नहीं होती है। इसलिए कैरियर बस का इस्तेमाल अधिक करते हैं। मुजफ्फरपुर स्थित बैरिया बस स्टैंड इलाके के साथ अहियापुर, सदर, मिठनपुरा, बेला थाना क्षेत्र में भी ड्रग्स सिंडिकेटर सक्रिय हैं। वे पुलिस की गतिविधियों की टोह भी लेते रहते हैं। बताया जाता है कि ड्रग्स सप्लाई को लेकर जिले में कार्यरत खुफिया एजेंसी भी स्थानीय पुलिस व मुख्यालय को अवगत करा चुकी है। इधर, एसएसपी जयंतकांत ने बताया कि स्मैक के एक दर्जन से अधिक धंधेबाजों को पुलिस ने पकड़ा है। इनमें से अधिकतर के खिलाफ चार्जशीट की गई है। पुलिस प्राथमिकता देकर अभियान चला रही है। आगे भी तस्करों की गिरफ्तारी होगी।
349 पुड़िया स्मैक के साथ पिता व दो बेटे गिरफ्तार
काजी मोहम्मदपुर पुलिस ने मंगलवार को सादपुरा के दुर्गा स्थान इलाके में एक घर से 349 पुड़िया स्मैक जब्त की है। मौके से तीन आरोपितों को दबोचा है। इनकी पहचान अजय कुमार और उसके पुत्र विक्रम कुमार व विक्की कुमार के रूप में हुई है। बता दें कि इससे पहले पिछले साल नगर थाने की पुलिस ने सरैयागंज टावर और बालूघाट से मादक पदार्थ के तस्करों को पकड़ा था। इनमें नेपाल के भी तस्कर शामिल थे। कार से ये लोग खेप लेकर महाराष्ट्र जा रहे थे।
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